इस पोस्ट में क्या है?
Prime Minister Kisan Adhiman Fund: every information including date, availability |
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि: तारीख, उपलब्धता समेत हर जानकारी
धानमंत्री किसान सम्मान निधि (पीएम-किसान) केंद्र सरकार की नई स्कीम है। इसकी घोषणा बजट 2019 में की गई थी। इस स्कीम को सभी छोटे और कम जमीन वाले किसान परिवारों की मदद के लिए लॉन्च किया गया है।
- पीएम-किसान योजना की घोषणा बजट 2019 में हुई है
- 2 हेक्टेयर तक जमीन रखने वाले किसानों को इसका फायदा मिलेगा
- इस स्कीम का फायदा 12 दिसंबर, 2018 के हिसाब से दिया जाएगा
- इसके तहत साल में कुल 6,000 रुपये मिलेंगे
- पैसों को सीधे किसान के खाते में ट्रांसफर किया जाएगा
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि (पीएम-किसान) केंद्र सरकार की नई स्कीम है। इसकी घोषणा बजट 2019 में की गई थी। इस स्कीम को सभी छोटे और कम जमीन वाले किसान परिवारों की मदद के लिए लॉन्च किया गया है। पीएम-किसान स्कीम का उद्देश्य खेती और घरेलू जरूरतों को पूरा करने में वित्तीय मदद देना है।
पीएम-किसान स्कीम के फायदे
इस स्कीम के तहत सरकार 2 हेक्टेयर तक की खेतिहर जमीन वाले 12 करोड़ किसान परिवारों को 6,000 रुपये हर साल देगी। ये पैसे हर चार महीने पर 2,000 रुपये की किश्त में साल में तीन बार दिए जाएंगे। इन पैसों को फायदा पाने वाले किसान के खाते में सीधे ट्रांसफर कर दिया जाएगा। पहली किस्त की अवधि 12 दिसंबर, 2018 से 31 मार्च, 2019 है। यानी किसानों को इस स्कीम का फायदा मौजूदा वित्तीय तिमाही से ही मिलने लगेगा।
किसे मिलेगा इस स्कीम का फायदा?
उन सभी किसान परिवारों को इस स्कीम का फायदा मिलेगा जिनके पास दो हेक्टेयर तक खेतिहर जमीन है। 1 फरवरी, 2019 तक जिन किसानों के नाम राज्य के लैंड रिकॉर्ड्स में दिखेंगे, उन्हें इस स्कीम का फायदा मिलेगा। सरकारी कर्मचारियों की बात करें तो मल्टी-टास्किंग स्टाफ/क्लास IV/ग्रुप डी कर्मचारी इस स्कीम का फायदा ले पाएंगे।
पीएम-किसान ऑफिशल वेबसाइट
सरकार ने PM-KISAN के लिए एक वेबसाइट pmkisan.nic.in लॉन्च की है। जिन किसानों के पास अपनी जमीन है वे ऑफिशल वेबसाइट पर जाकर पीएम-किसान स्कीम से जुड़ी लेटेस्ट अपडेट पा सकते हैं। पीएम-किसान ऑफिशल पोर्टल पर किसानों के नाम अपलोड करने की आखिरी तारीख 25 फरवरी, 2019 है।
पीएम किसान योजना 2019 के लिए आवेदन करने के लिए कोई भी सरकारी पहचान पत्र, आधार कार्ड, बैंक अकाउंट डीटेल्स और जमीन का रिकॉर्ड दिखाना होगा। गौर करने वाली बात है कि इस स्कीम का फायदा उठाने के लिए आधार जरूरी है।
अर्बन और रूरल लैंड
गौर करने वाली बात है कि इस स्कीम के तहत शहरी और ग्रामीण खेतिहर जमीन में कोई फर्क नहीं है। शहरी और ग्रामीण दोनों ही खेतिहर जमीन इस स्कीम के अंदर कवर होगी।